निर्भया मामले में फांसी की सजा से राहत पाने के लिए चारों दोषियों में से एक विनय कुमार शर्मा ने बुधवार को राष्ट्रपति के पास दया याचिका भेज दी है। इससे पहले निर्भया मामले में एक अन्य दोषी मुकेश की दया याचिका खारिज हो चुकी है। फांसी का वक्त नजदीक आता देख सभी दोषी इससे बचने के लिए तरह-तरह के हथकंडे अपना रहे हैं।
एक अन्य दोषी अक्षय सिंह ठाकुर ने सुप्रीम कोर्ट में सुधारात्मक याचिका दायर की, जिसे कोर्ट ने सुनवाई के लिए मान लिया है। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में पांच जजों की बेंच दोषी अक्षय ठाकुर की क्यूरेटिव पिटिशन पर सुनवाई करेगी। इसकी सुनवाई गुरुवार को एक बजे होनी है।
इधर बार-बार कानून का सहारा लेकर दोषियों द्वारा फांसी से बचने का हथकंडा अपनाया जा रहा है। इस कारण जेल प्रशासन के समक्ष इन चारों दोषियों को एक साथ फांसी देने की चुनौती बनी हुई है। फिलहाल जानकार बता रहे हैं कि नियमानुसार, फांसी एक फरवरी को होना नामुमकिन है, क्योंकि किसी भी दोषी को फांसी देने से 14 दिन पहले उसे इसके बारे में बताना जरूरी होता है।